पंजाब-हरियाणा के शंभू और खनौरी बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन का आज (गुरुवार) को 10वां दिन है। किसानों ने दिल्ली कूच करने का प्लान फिलहाल 2 दिन के लिए टाल दिया है। किसानों ने खनौरी बॉर्डर पर युवा किसान शुभकरण सिंह की मौत और तनावपूर्ण हालात के बाद ये फैसला लिया है।
किसान मजदूर मोर्चा (KMM) कोऑर्डिनेटर सरवण सिंह पंधेर ने कहा कि 2 दिन हम रणनीति बनाएंगे। 23 फरवरी को अगला फैसला लिया जाएगा।
बता दें कि देश में हो रहे किसान आंदोलन के समर्थन में और नोएडा में किसानों की समस्याओं को लेकर यह प्रदर्शन किया जा रहा है. फिलहाल प्रदर्शनकारी किसानों द्वारा बुधवार को दिल्ली की ओर नियोजित मार्च के बाद राष्ट्रीय राजधानी में सुरक्षा बढ़ा दी गई है. पड़ोसी राज्यों के साथ प्रमुख सीमा प्रवेश स्थलों पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है.
81 गांवों में चलाया जा रहा है जन जागरण अभियान
किसानों को मनाने के लिए नोएडा प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालक अधिकारी, डीएम और अपर मुख्य कार्यपालक अधिकारी की अगुआई में एक बैठक की गई. ये बैठक करीब दो से ढाई घंटे चली, लेकिन कोई परिणाम नहीं निकला. किसानों ने कहा कि समय देने के बावजूद सरकार ने अब तक हाईपावर कमेटी नहीं बनाई और न ही लिखित में आश्वासन दिया जा रहा है. ऐसे में दिल्ली कूच ही एकमात्र विकल्प है. दिल्ली कूच को लेकर 81 गांवों में जन जागरण अभियान चलाया गया है.
पंजाब और हरियाणा के किसान भी दिल्ली कूच की तैयारी में
उधर पंजाब और हरियाणा के किसानों का एक बड़ा जमावड़ा बुधवार को भी हरियाणा की सीमाओं पर मौजूद रहा| MSP की कानूनी गारंटी तथा अन्य मांगों पर सरकार के साथ वार्ता विफल होने के बाद यहां भी किसान अपना विरोध दर्ज कराने के लिए राष्ट्रीय राजधानी की ओर कूच करने की तैयारी में हैं|प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाकर्मियों के बीच झड़प की अप्रिय घटनाओं को रोकने के लिए, दोनों राज्यों ने अंतर-राज्यीय सीमा क्षेत्रों तक पहुंचने के लिए जेसीबी, पोकलेन, टिपर या अन्य भारी अर्थमूविंग उपकरणों पर प्रतिबंध लगा दिया है|